Thursday 8 April 2021

पापा

 था एक शख़्स ऐसा मेरी ज़िन्दगी में

जो शायद जब था तो मुझे एहसास नहीं था

पर अब जब वो नहीं है

तो मै तड़पती हूं पल पल

बस एक शब्द पापा बोलने को 

मन करता है कभी आवाज़ दूं मै इधर से

तो आवाज़ दे वो उधर से

हां मै हूं

मै बोल रहा हूं

तू कैसी है

तेरी आवाज़ तो ठीक नहीं लग रही

पहचान जाते थे वो मेरी उदास या कमजोर आवाज़ एक hello सुनकर

खो जाता है वो प्यार कहीं

रह जाता है बस पल पल तड़पना.........